+ -

عن عائشة رضي الله عنها، قالت: كان رسول الله - صلى الله عليه وسلم - يَسْتَحِبُّ الجَوَامِعَ من الدعاء، ويَدَعُ ما سوى ذلك.
[صحيح] - [رواه أبو داود وأحمد]
المزيــد ...

आइशा -रज़ियल्लाहु अन्हा- का वर्णन है कि अल्लाह के रसूल -सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम- अर्थपूर्ण दुआओं को पसंद करते थे और शेष दुआओं को छोड़ देते थे।
[सह़ीह़] - [इसे अबू दाऊद ने रिवायत किया है। - इसे अह़मद ने रिवायत किया है।]

व्याख्या

अल्लाह के नबी -सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम- जब दुआ करते, तो ऐसी दुआओं का चयन करते, जो सारगर्भित होतीं। आप तत्व से परिपूर्ण एवं साधारण शब्दों का चयन करते थे। इसी तरह ऐसी दुआओं का चयन करते, जिनमें शब्द कम होते और अर्थ बहुत होते थे। याद रहे कि ऐसा हमेशा नहीं होता था। दरअसल वर्णकर्ता ने वह बात कही है, जो वह जानते थे। वरना अन्य ऐसी दुआएँ भी आई हुई हैं, जिनमें विस्तार एवं विवरण है। अतः दोनों बातें सही हैं।

अनुवाद: अंग्रेज़ी उर्दू स्पेनिश इंडोनेशियाई उइग़ुर बंगला फ्रेंच तुर्की रूसी बोस्नियाई सिंहली चीनी फ़ारसी वियतनामी तगालोग कुर्दिश होसा पुर्तगाली मलयालम तिलगू सवाहिली थाई पशतो असमिया الأمهرية الهولندية الغوجاراتية الدرية الرومانية المجرية الموري Malagasy Kanadische Übersetzung الأوكرانية الجورجية المقدونية الخميرية الماراثية
अनुवादों को प्रदर्शित करें
अधिक