عن أبي هريرة عن النبي صلى الله عليه وسلم قال: «لعن الله السارق، يسرق البَيْضَةَ فَتُقْطَعُ يده، ويسرِقُ الحَبْلَ فَتُقْطَعُ يَدُهُ».
[صحيح] - [متفق عليه]
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अबू हुरैरा (रज़ियल्लाहु अन्हु) से रिवायत है, वह नबी (सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम) से बयान करते हैं कि आपने फरमायाः "चोर पर अल्लाह की लानत (धिक्कार) हो, वह अंडा चुराता है तो उसका हाथ काटा जाता है तथा रस्सी चुराता है तो उसका हाथ काटा जाता है।"
[सह़ीह़] - [इसे बुख़ारी एवं मुस्लिम ने रिवायत किया है।]